हनवारा:महागामा स्थित पुरानी धर्मशाला निवासी स्वतंत्रता सेनानी स्व गिरिधारी लाल टिबरेवाल की 96 वर्षीया पत्नी सीता देवी के निधन पर प्रशासनिक संवेदनहीनता पूरी तरह उजागर हुई। स्वतंत्रता सेनानी की पत्नी के निधन पर किसी अधिकारी ने श्रद्धा सुमन अर्पित करना मुनासिब नहीं समझा।
बबलू टिबड़ेवाल की दादी सीता देवी की मंगलवार को अपराह्न 3:35 बजे मृत्यु पैतृक आवास में हो गई। वह अपने पीछे आठ पुत्र और एक पुत्री को छोड़ गईं।
स्वतंत्रता सेनानी स्वर्गीय टिबडेवाल की पत्नी की मृत्यु की खबर सुनते ही महागामा में शोक का लहर दौड़ पड़ी। संवेदना व्यक्त करने अनेक लोग पहुंचे। देश को आजादी दिलाने में स्वतंत्रता सेनानी गिरधारी लाल जैसे देश भक्त ने सराहनीय भूमिका निभाई थी। लोगों ने स्वतंत्रता सेनानी की पत्नी की मृत्यु पर संवेदना व्यक्त की बात ।
लेकिन दुख की बात यह रही कि स्वतंत्रता सेनानी की पत्नी होने के बावजूद किसी पदाधिकारी या नेता ने उनके पार्थिव शरीर पर माल्यार्पण नहीं किया। हालांकि शोक संतप्त परिवार वालों को महागामा के प्रखंड विकास पदाधिकारी के द्वारा सूचना दी गई थी कि वह श्रद्धांजलि देने आएंगे। लेकिन काफी इंतजार के बाद भी नहीं आए। राजनीतिक एवं प्रशासनिक संवेदनहीनता पर लोगों ने गहरी आपत्ति व्यक्त की है।