पाकुड़ः बांग्लादेश में हिंदुओं के साथ हो रहे अत्यचार को रोकने एंव बांग्लादेश के हिंदुओं के रक्षा करने की मांग समेत शहर में राष्ट्रीय ध्वज के किये गये अपमान पर कारवाई को ले कर सत्य सनातन संस्था और अखिल भारतीय विद्याथर्सी परिषद ने अगलग अलग ज्ञापन क्रमशः डीसी व एसपी को सौंपा। गुरूवार को सत्य सनातन संस्था के अध्यक्ष रंजीत कुमार चौबे के नेतृत्व में सदस्यों ने समाहरणलय पहॅूच कर देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम एक ज्ञापन डीसी वरुण रंजन को सौंपा है। संस्था के उपयुक्त को दिए मांग पत्र में बताया है कि संस्था अपने स्थापना काल से ही देश, समाज के कल्याण हेतु कार्य करते आ रही बांग्लादेश में हिंदुओं के साथ जघन्य अपराध किए जा रहे है। हिन्दुओ के मठ-मंदिर को तोड़ा जा रहा है। दुर्गा पूजा के पंडाल में पत्थरबाजी के साथ जमकर तोड़ फोड़ किया गया है। हिंदुओ की हत्या कर हमारे बहनों के साथ दरिंदगी की गई है। पूरे विश्व मे शांति व प्रेम को प्रसारित करने वाली इस्कॉन मंदिर एंव भक्तों पर जनलेवा हमला किया गया है। बांग्लादेश में हिन्दुओ की सुरक्षा को लेकर सख्त से सख्त कदम उठाते हुए उन्हें सुरक्षा मुहैया कराया जाए।वहीं राष्ट्रीय ध्वज के अपमान के खिलाफ एसपी हरदीप पी जनार्दनन को सत्य सनातन संस्था ने आवेदन सौंपा है। संस्था के अध्यक्ष रंजीत कुमार चौबे ने कहा कि संस्था अपने स्थापना काल से ही देश, समाज के कल्याण हेतु कार्य करते आ रही है। पिछले 19 अक्टूबर को एक धर्मिक जुलूस निकाला गया था। जिसमे राष्ट्रीय ध्वज तिंरगा में अशोक चक्र कर स्थान पर चांद -तारा जोड़कर सार्वजनिक रूप से प्रर्दशित करने का कार्य किया गया है। यह घटना भारत के राष्ट्रीय गौरव तिंरगा के अपमान किया गया है। यह काफी संवैधानिक विषय है। भारत का राष्ट्र ध्वज लोगो की गरिमा तथा गौरव का प्रतीक है। इस तरह के छेड़-छाड़ भारत की अखंडता को तोड़ने एंव ठेस पहुचाने का जैसा प्रतीत हो रहा है। इसे राष्ट्रीयहित में अनदेखी नही किया जा सकता है। भारत के अखण्डता एंव सम्प्रभुता पर किसी तरह की कोई आंच नही आने देगे। मामले को लेकर संस्था ने एसपी को गंभीरता पूवक जांच दोषियों के खिलाफ उचित करवाई किए जाने का मांग किया है।मौके पर संस्था के उपाध्यक्ष सागर चौधरी, सयुक्त सचिव चंदन रक्षित ,कोषाध्यक्ष अमर ठाकुर , सदस्य अभिनंदन गुप्ता, नंदलाल ओझा , कुंदन सिंह, दुस्तन्त सिन्हा ,बमभोला उपाध्याय, जितेंद्र सिन्हा एवम अन्य उपस्थित थे।