सार्वजनिक स्थानों पर रावण दहन की अनुमति नहीं
गोड्डा/महागामा: आगामी दुर्गा पूजा के मद्देनजर राज्य सरकार द्वारा गाइडलाइन जारी कर दिया गया है। जारी 15 सूत्री गाइडलाइन के तहत दुर्गा पूजा पंडालों पर आम दर्शनार्थियों के प्रवेश पर रोक रहेगी। सार्वजनिक स्थानों पर रावण दहन कार्यक्रम करने पर मनाही की गई है।
पूजा समितियों को गाइड लाइन के बारे में जानकारी देने के लिए गोड्डा एवं महागामा के अनुमंडल पदाधिकारी द्वारा अपने अपने अनुमंडल क्षेत्र के पूजा समितियों के अध्यक्ष एवं सचिवों के साथ बैठक की गई। गोड्डा के अनुमंडल पदाधिकारी ऋतुराज ने जानकारी देते हुए बताया कि 30 सितंबर को दुर्गा पूजा 2021 के अवसर पर गोड्डा शहरी क्षेत्र में अवस्थित दुर्गा पूजा पंडाल समिति के साथ बैठक आहूत किया गया। जिसमें दुर्गा पूजा पंडाल समिति के अध्यक्ष एवं सचिव उपस्थित हुए। साथ ही बैठक में नगर थाना एवं मुफस्सिल थाना प्रभारी एवं अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, गोड्डा ने भाग लिए। बैठक में सभी दुर्गा पूजा पंडाल समिति के अध्यक्ष एवं सचिव को मुख्य सचिव, गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग झारखण्ड के आदेश ज्ञापांक-431 / सीएस, दिनांक 16 सितंबर 2021 द्वारा दुर्गापूजा 2021 हेतु निर्गत दिशा निर्देश की जानकारी दी गई।
क्या-क्या है निर्देश
दुर्गापूजा के अवसर पर प्रतिमा को मंदिर अथवा छोटे पंडाल में स्थपित किया जाना है।पूजा पंडाल की स्थापना कनटेनमेंट जोन के बाहर होना चाहिए। पूजा पंडाल तीन तरफ से घिरा होना चाहिए । प्रतिमा के दर्शन हेतु एक तरफ खुला रहेगा एवं बैरिकेट लगा होना चाहिए। दर्शनार्थी को मंदिर के अंदर प्रवेश की अनुमति नहीं होगी। वे बाहर से ही सामाजिक दूरी का पालन करते हुए दर्शन करेंगे। पूजा पंडाल किसी थीम पर आधारित नहीं होनी चाहिए। पूजा पंडाल के चारों ओर लाइटिंग से सजावट की अनुमति नहीं होगी। केवल सुरक्षा के दृष्टिकोण से आवश्यक रोशनी की व्यवस्था की जानी है। पूजा पंडाल में स्वागत या तोरण द्वार नहीं लगाना है। मंडप में रखी जाने वाली प्रतिमा 5 फीट से ऊंची नहीं होनी चाहिए।ध्वनि प्रदूषण अधिनियम 2000 का अनुपालन किया जाना है। केवल मंत्र का उच्चारण होगा। रिकॉर्डेड सीडी इत्यादि नहीं बजेगी। पूजा समिति के सभी सदस्य, पुजारी, वालंटियर को कोविड-19 के कम से कम एक डोज वैक्सीनेटेड होना आवश्यक है।दुर्गा पूजा के अवसर पर मेला का आयोजन प्रतिबंधित है। पंडाल के आस-पास खाद्य पदार्थ का दुकान खोलना प्रतिबंधित है।दुर्गा पूजा पंडाल के अंदर एक समय में पुजारी, आयोजक एवं वालंटियर सहित अधिकतम 25 व्यक्ति को रहने की अनुमति है। पंडाल में 18 वर्ष से कम उम्र के व्यक्तियों को रहने की अनुमति नहीं है।
सार्वजनिक स्थल पर गरबा या डांडिया का आयोजन नहीं किया जायेगा। सार्वजनिक स्थल पर रावण दहन की अनुमति नहीं होगी।
आदेश का उल्लंघन करने पर होगी कार्रवाई
दुर्गापूजा पंडाल समिति के अध्यक्ष एवं सचिव को यह भी जानकारी दी गई कि आदेश का उल्लंघन होने पर आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 51 से 60 तथा भारतीय दंड संहिता की धारा 188 एवं अन्य सुसंगत धाराओं के तहत कार्रवाई की जायेगी।सभी पूजा पंडाल के अध्यक्ष, सचिव को जानकारी दी गई कि विसर्जन के लिए अलग से कार्यक्रम जारी किया जायेगा। उसी के अनुसार विसर्जन की प्रक्रिया की जायेगी। साथ ही सभी पूजा समिति के अध्यक्ष, सचिव को शपथ-पत्र जमा करने का निर्देश दिया गया।
महागामा से संवाददाता के अनुसार,आगामी दुर्गा पूजा को लेकर अनुमंडल कार्यालय, महागामा में शुक्रवार को आयोजित की गई। बैठक में महागामा अनुमंडल क्षेत्र अंतर्गत सभी थाना प्रभारी, पूजा समिति के अध्यक्ष एवं सचिव, अनुमंडल अंतर्गत सभी प्रखंडों के प्रखंड विकास पदाधिकारी एवं अंचलाधिकारी उपस्थित थे।बैठक की अध्यक्षता महागामा के अनुमंडल पदाधिकारी जितेंद्र कुमार देव एवं अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी शिव शंकर तिवारी संयुक्त रूप से कर रहे थे।
बैठक में मुख्य रूप से झारखंड सरकार द्वारा दुर्गा पूजा को लेकर जारी गाइडलाइन को लेकर चर्चा की गई।अनुमंडल पदाधिकारी जितेंद्र कुमार देव ने बताया कि कोरोना के चलते इस बार भी सरकार के द्वारा आदेश जारी किया गया है। सरकार के आदेशानुसार, कहीं पर भी मेला का आयोजन पर पूर्ण प्रतिबन्ध है। मंदिरों में भी ज्यादा भीड़ लगाने की मनाही की गई है। उन्होंने बताया कि सभी लोगों को दुर्गापूजा सौहाद्रपूर्ण एवं शांति पूर्ण तरीके से मनाना है।
अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी शिव शंकर तिवारी ने कहा कि पुलिस पार्टी एवं प्रतिनियुक्त मजिस्ट्रेट के द्वारा जगह जगह पर बने पंडाल की निगरानी की जाएगी।बैठक में महागामा थाना प्रभारी उमेश कुमार मोदी, महागामा अंचलाधिकारी रंजन यादव, हनवारा थाना प्रभारी दीपक कुमार, महागामा दुर्गापूजा समिति के सतीश झा, दयाशंकर ब्रह्म, कुंवर गोपाल सिंह, रवि कांत सिंह सहित अनेक लोग उपस्थित थे।