अनंत दुबे की रिपोर्ट
गोड्डा: झारखंड विधिक सेवा प्राधिकार के निर्देश के आलोक में रविवार को जिला विधिक सेवा प्राधिकार की ओर से मंडल कारा परिसर में जेल अदालत सह विधिक जागरुकता शिविर आयोजित किया गया। इस दौरान बंदियों को गिरफ्तारी के पूर्व के अधिकार, विचारण के दौरान बंदियों के अधिकार एवं मुफ्त विधिक सहायता के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई। शिविर की अध्यक्षता प्राधिकार के सचिव दयाराम ने की। उन्होंने कहा कि संविधान में सभी न्याय पाने का अधिकार है।
जेल में बंद विचाराधीन बंदियों को भी विधिक सहायता लेने का अधिकार है। इसके लिए जेल प्रशासन के माध्यम से संबंधित कोर्ट को आवेदन भेजने की जरुरत है। इसके अलावा प्ली बारगेनिंग का लाभ ले सकते हैं। सभी को अपने अधिकार और कर्तव्यों के प्रति सजग रहने की जरुरत है। किसी दूसरे के अधिकार का हनन नहीं करें। रजिस्टार वाल्टर भेंगरा ने कहा कि बंदियों को विधिक सहायता लेने का अधिकार है एवं वकील रखकर भी अपना पक्ष रख सकते हैं। उसे भी अपने मुकदमे की स्थिति को जानने का अधिकार है। इसके अलावा मध्यस्थ शादिक अहमद, कमल कुमार झा आदि ने भी विचार व्यक्त किये। कार्यक्रम का संचालन पीएलवी नवीन कुमार कर रहे थे। धन्यवाद ज्ञापन जेलर सोनू कुमार ने किया।