– मजदूरी नहीं मिली तो बकरीद का पर्व रहेगा फीका
विजय कुमार की रिपोर्ट
मेहरमा : कोरोना महामारी के चलते लॉकडाउन और ऊपर से मजदूरी न मिलने से मनरेगा मजदूरों को दोहरी मार झेलनी पड़ रही है। लोगों के पास काम धंधे बंद हैं। सरकार ने मनरेगा कार्य को चालू तो रखा है, लेकिन मजदूरी भुगतान नहीं हो रहा है। एक दो माह से मजदूरों को मजदूरी नहीं मिली है। इससे मजदूरों के समक्ष आर्थिक संकट उत्पन्न हो गई है। मेहरमा एवं ठाकुरगंगटी प्रखंड क्षेत्र में सभी पंचायतों के मनरेगा मजदूरों को लगभग दो माह से अधिक समय बीतने के बाद भी मजदूरी भुगतान नहीं हो पा रहा है। मजदूरों का कहना है एक तो कोरोना महामारी के चलते सरकार ने लॉकडाउन लगाया है। जिसके चलते कहीं काम धंधा नहीं चल रहा है। मनरेगा ही एक मात्र गरीब मजदूरों का सहारा है। लेकिन काम करने पर भी समय में पैसा नहीं मिल रहा है।
इधर मुस्लिम समुदाय के कई मनरेगा मजदूरों ने बताया कि बुधवार को बकरीद का त्यौहार है। लेकिन मजदूरी का पैसा नहीं मिला है। जिसके कारण बकरीद का त्यौहार काफी फीका रहेगा।
इस संबंध में ठाकुरगंगटी बीपीओ बेनजामिन हांसदा ने बताया कि मनरेगा मजदूरों का एफटीओ प्रखंड स्तर पर समय से किया जा रहा है। मजदूरों का भुगतान में जो भी समस्याएं आ रही है राज्य स्तर का मामला है।