– विभिन्न संगठनों ने आजादी के दीवानों को दी श्रद्धांजलि
गोड्डा: जंगे आजादी के जांबाज सेनानी अमर शहीद चंद्रशेखर आजाद की जयंती पर विभिन्न संगठनों की ओर से श्रद्धा सुमन अर्पित किया गया। राष्ट्रीय विभूति मंच द्वारा स्थानीय आजाद स्मारक के समक्ष कार्यक्रम का आयोजन कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की गई। कार्यक्रम की शुरुआत उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण एवं पुष्पांजलि से हुआ। मंच के संयोजक राजेश झा ने अपने सम्बोधन में आजाद के क्रांतिकारी विचारों को रेखांकित करते हुए युवाओं से चंद्रशेखर आजाद के देश के प्रति अथाह प्रेम से प्रेरणा लेने की अपील की। रेडक्रॉस सचिव सुरजीत झा ने शहर के सभी खस्ताहाल स्मारकों के जीर्णोद्धार की ओर लोगों का ध्यान आकृष्ट किया।
मंच के अध्यक्ष डॉ जी अली ने जनसहयोग से चंद्रशेखर आजाद सहित सभी स्मारकों के जीर्णोद्धार एवं सौंदर्यीकरण की सलाह दी।
नगर परिषद के पूर्व अध्यक्ष अजीत सिंह ने कहा कि सरकारें आती – जाती रहेंगी। हमें देशहित में लिए गए सभी फैसलों का स्वागत और समर्थन करना चाहिए तथा देश को नुकसान पहुंचाने वाली नीतियों का विरोध भी करना चाहिए। आजाद के विचारों को आत्मसात करना चाहिए। लोक मंच सचिव सर्वजीत झा ने जयंती पर आजाद एवं बाल गंगाधर तिलक तथा पुण्यतिथि पर कैप्टन लक्ष्मी सहगल के अवदानों को याद करते हुए हर काम देशहित में किये जाने की अपील की। डॉ श्यामाकांत झा ने युवाओं को भोगवादी संस्कृति से बचने की सलाह दी। डॉन बोस्को के निदेशक अमित राय ने कहा कि आजाद को देश में वो सम्मान नहीं मिला, जिसके वह हकदार थे। समाजसेवी सुभाष यादव ने युवाओं का आह्वाहन करते हुए कहा कि आजाद के सपने अभी भी अधूरे हैं जिसे उन्हें ही पूरा करना है। अधिवक्ता रघुनाथ यादव ने आजाद को साहसी क्रांतिकारी बताया जिसके लिए देश से बड़ा कुछ नहीं था। माधव चौधरी ने आजाद को देश का वीर सपूत बताया और उनके बलिदान को सर्वोच्च बलिदान। युवा नेता कृष्ण कन्हैया ने कहा कि सभी युवाओं को आजाद, तिलक, सहगल आदि महान विभूतियों की जीवनी पढ़नी चाहिए, तब वे आजादी के मूल्य को ठीक से समझ पाएंगे। नितेश सिंह बंटी ने आजाद को अद्वितीय क्रांतिकारी बताया। इसके अलावा कार्यक्रम को पवन झा, अतुल दुबे, निखिल झा, गप्पू सिन्हा, शिवेश वर्मा, नरेंद्र मिश्रा, अफरोज उर्फ गुड्डु आदि ने भी संबोधित किया। धन्यवाद ज्ञापन सीताराम राउत नई किया।
खेल एवं कला संस्कृति विभाग ने भी दी शब्द श्रद्धांजलि
चंद्रशेखर आजाद, बाल गंगाधर तिलक और कैप्टन लक्ष्मी सहगल जैसी विभूतियों का जन्म बिरले ही होता है। ऐसे लोग युग महामानव कहे जाते हैं। यह बात जिला खेल, कला-संस्कृति एवं पर्यटन पदाधिकारी राहुल कुमार ने शुक्रवार को स्थानीय चंद्रशेखर आजाद स्मारक के समक्ष आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कही। कला-संस्कृति विभाग के तत्वावधान में आयोजित कार्यक्रम में श्री कुमार के अलावा जिला कला-संस्कृति संयोजक सुरजीत झा, रेनबो म्युज़िकल ग्रुप के संरक्षक समीर दुबे एवं अमित राय, कला-संस्कृति से जुड़े आशुतोष झा, गायक मिथिलेश कुमार, नितेश सिंह “बंटी”, निखिल झा, शिवेंद्र झा, सुभाष चन्द्र दास, सुनील कुमार एवं डॉ नंदकिशोर झा ने आजाद की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर उनके साथ-साथ जयंती पर बाल गंगाधर तिलक एवं पुण्यतिथि पर कैप्टन लक्ष्मी सहगल के जीवन वृत्त एवं कृतित्व पर प्रकाश डाला।